दिब्रूगढ़, 11 जून 2025: असम के ऊपरी क्षेत्र में कनेक्टिविटी को बढ़ाने वाली जोरहाट-झांजी 4-लेन राष्ट्रीय राजमार्ग (NH-37) परियोजना अब अपने अंतिम चरण में है, जिसमें 97% निर्माण कार्य पूरा हो चुका है। जोरहाट की जिला आयुक्त जय शिवानी ने मंगलवार को राष्ट्रीय राजमार्ग और बुनियादी ढांचा विकास निगम लिमिटेड (NHIDCL) के अधिकारियों के साथ निरीक्षण के दौरान यह जानकारी दी।
यह महत्वाकांक्षी परियोजना, जिसकी आधारशिला केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने 27 फरवरी 2016 को रखी थी, 37.8 किलोमीटर लंबी है। इसमें 36.8 किलोमीटर जोरहाट जिले और 1 किलोमीटर सिवसागर जिले में फैला है। कुल 738.15 करोड़ रुपये की लागत से बन रही इस परियोजना को तीन ठेकेदारों—एम/एस सादगुरु इंजीनियर्स, एम/एस बिन्नी कंस्ट्रक्शन, और एम/एस एमपी अग्रवाला—द्वारा चार पैकेजों में निष्पादित किया जा रहा है।
जिला आयुक्त शिवानी ने निरीक्षण के दौरान भोगदोई और झांजी नदी पुलों के निर्माण को तेज करने के निर्देश दिए, जो परियोजना के महत्वपूर्ण हिस्से हैं। इसके अलावा, 12 वाहन अंडरपास (VUP) के कार्य भी अंतिम चरण में हैं। NHIDCL के महाप्रबंधक देवेंद्र सिंह ने बताया कि साइंस कॉलेज VUP पर ब्लैकटॉपिंग पूरी हो चुकी है, जबकि अजंता बायपास VUP में 100% मिट्टी भराई और भोगदोई VUP में 90% कार्य पूरा हुआ है।
यह परियोजना शुरू होने के बाद से कई चुनौतियों का सामना कर चुकी है, जिसमें भूमि अधिग्रहण, मौसम की बाधाएं, और लॉजिस्टिक समस्याएं शामिल हैं। शुरुआती ठेकेदार गैनन डंकर्ले एंड कंपनी लिमिटेड के साथ अनुबंध 2022 में रद्द कर दिया गया था, जिसके बाद नए ठेकेदारों को नियुक्त किया गया। इसके बावजूद, NHIDCL ने फरवरी 2025 तक परियोजना को पूरा करने का लक्ष्य रखा है।
स्थानीय निवासी रामकांत गोगोई ने कहा, “यह राजमार्ग क्षेत्र के विकास के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। वर्षों की देरी के बाद अब यह देखकर खुशी हो रही है कि काम तेजी से पूरा हो रहा है।” यह राजमार्ग पूरा होने पर जोरहाट और झांजी के बीच यात्रा समय को काफी कम करेगा, साथ ही माल और यात्रियों के परिवहन को सुगम बनाएगा।
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने दिसंबर 2024 में लोकसभा में कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई के सवाल के जवाब में आश्वासन दिया था कि यह खंड फरवरी 2025 तक पूरा हो जाएगा। असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने भी इस परियोजना की प्रगति की सराहना की है और इसे क्षेत्र के लिए एक महत्वपूर्ण कदम बताया है।
इस राजमार्ग के पूरा होने से न केवल जोरहाट और सिवसागर के बीच कनेक्टिविटी बढ़ेगी, बल्कि यह ऊपरी असम के आर्थिक विकास को भी गति देगा। यह परियोजना क्षेत्र में रोजगार सृजन और व्यापारिक गतिविधियों को बढ़ावा देने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।